दो योजनाओं के बाद भी पानी को तरस रही चार हजार की आबादी, 20 लीटर पानी के लिए भी घंटो करना पड़ रहा है इंतजार

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मौलेखाल (अल्मोड़ा)। मौलेखाल बाजार और आसपास के लोगों की प्यास बुझाने के लिए बनीं दो योजनाएं भी काम नहीं आ रही हैं। गर्मी बढ़ते ही क्षेत्र में पेयजल संकट गहरा गया है। क्षेत्र की चार हजार से अधिक आबादी परेशान है।हालात यह हैं कि तीसरे दिन पानी की आपूर्ति हो रही है और 20 लीटर पानी के लिए भी चिलचिलाती धूप में लाइन में लगकर एक घंटे से अधिक समय तक इंतजार करना पड़ रहा है। 

मौलेखाल मुख्य बाजार और उसके आसपास के क्षेत्रों की चार हजार से अधिक की प्यास बुझाने के लिए करोड़ों की शशिखाल-कोटेश्वर और गुलार-करगेत योजनाओं का निर्माण किया गया। गर्मी के मौसम में इन योजनाओं ने लोगों का साथ छोड़ दिया है। दोनों योजनाओं से पर्याप्त पानी की आपूर्ति नहीं हो रही है। ऐसे में जल संस्थान तीसरे दिन पानी की सप्लाई दे रहा है।। इससे लोगों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। नल में पर्याप्त पानी नहीं आ रहा है और स्टैंड पोस्ट पर 20 लीटर पानी के लिए भी घंटों लाइन में लगना पड़ रहा है। लोग किसी तरह प्राकृतिक जल स्रोतों से अपनी जरूरत पूरी कर रहे हैं। 

टैंकर भी नहीं पहुंचे मौलेखाल 

गर्मी शुरू होते ही जल संस्थान और प्रशासन ने पानी की दिक्कत वाले स्थानों पर टैंकर से पेयजल आपूर्ति करने के दावे किए थे। मौलेखाल में लोग पानी के लिए तरस गए हैं और टैंकर गायब हैं। ऐसे में लोगों में जल संस्थान और प्रशासन के खिलाफ खासा आक्रोश है। 

जल स्रोतों का पानी घटने से बढ़ी दिक्कत 

मौलेखाल। जल संस्थान के मुताबिक दोनों योजनाओं के स्रोतों में पानी घटने से दिक्कत बढ़ गई है। बीते दिनों की अपेक्षा स्रोतों में पानी 50 प्रतिशत से अधिक घट गया है। इस वजह से पर्याप्त पेयजल आपूर्ति नहीं हो रही है। 

कारोबार हो रहा है चौपट 

पेयजल संकट के चलते व्यापारियों का कारोबार भी प्रभावित हो रहा है। पानी न होने से होटल कारोबारियों ने भोजन बनाना बंद कर दिया है तो चाय के होटल बंद करने पड़े हैं। ऐसे में लोगों की आजीविका पर भी संकट के बादल मंडरा रहे हैं। 

जल संस्थान जेई माहिप शर्मा ने कहा पेयजल योजनाओं के स्रोतों में पानी घटने से दिक्कत आई है। तीसरे दिन पेयजल आपूर्ति की जा रही है। लोगों को पर्याप्त पानी मिले, इसके प्रयास हो रहे हैं। 

 

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