Uttrakhand News:ओपन हार्ट सर्जरी के बगैर दिल का वॉल्व बदल एम्स के डॉक्टरों ने मरीज को दी नई जिंदगी

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एम्स ऋषिकेश के चिकित्सकों ने बिना ओपन हार्ट सर्जरी किए मरीज का वाॅल्व बदलने में सफलता हासिल की है। मरीज के हृदय के वाॅल्व खराब थे।मरीज अब स्वस्थ है और बिना किसी सहारे के चलने लगा है। प्रत्यारोपित वाल्व भारत में स्वदेशी रूप से निर्मित होते हैं।

🔹हृदय के वाल्व क्षतिग्रस्त हो गए थे

उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले के रहने वाले 58 वर्षीय विभूरंजन पाल पिछले 10 महीने से हृदय की गंभीर समस्या सहित शरीर की कई जटिल बीमारियों से पीड़ित थे। उनके हृदय के वाल्व क्षतिग्रस्त हो गए थे और इलाज के अभाव में एक वाल्व सिकुड़कर छोटा हो गया था।

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🔹हृदय की कार्यक्षमता घटकर 20 प्रतिशत रह गई

हालत यह हो गई कि हृदय की कार्य क्षमता घटकर मात्र 20 प्रतिशत रह गई। आसपास के अस्पतालों ने उन्हें बताया कि उनकी बीमारी अब लाइलाज है और उनका ठीक होना असंभव है। यहां पिछले महीने 10 अगस्त को उन्होंने कार्डियोलॉजी विभाग की ओपीडी में मौजूद हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. भानु दुग्गल को पूरी कहानी बताई

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🔹ओपन हार्ट सर्जरी के माध्यम से वाल्व प्रतिस्थापन की सिफारिश की गई

एम्स के कार्डियोलॉजी विभाग के प्रमुख और वरिष्ठ सर्जन डॉ. भानु दुग्गल ने कहा कि मरीज की हालत ऐसी थी कि वह बहुत ज्यादा जोखिम में था और बाईपास सर्जरी नहीं की जा सकती थी। ऐसे में सभी जरूरी टेस्ट कराने के बाद मरीज को बिना ओपन हार्ट सर्जरी के हार्ट वॉल्व रिप्लेसमेंट कराने की सलाह दी गई।