पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने सबसे बड़ी अदालत की टिप्पणी पर भगदा को घेरा

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पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने सबसे बड़ी अदालत की टिप्पणी पर भगदा को घेराबअल्मोड़ा। देश की सबसे बड़ी अदालत में महाराष्ट्र के शिवसेना विवाद में सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई के दौरान संविधान पीठ ने तल्ख टिप्पणी की है।

 

 

 

 

 

 

इसमेें तत्कालीन राज्यपाल की भूमिका पर कई सवाल खड़े किए हैं। पांच जजों की संविधान पीठ की इस टिप्पणी पर उत्तराखंड में भी राजनीति शुरू हुई है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पूर्व सीएम हरीश रावत ने सोशल मीडिया अकाउंट में कुछ इस प्रकार से टिप्पणी की है। यहां बता दें कि भगता इस बीच कपकोट स्थित अपने गांव के प्रवास में हैं। रावत की टिप्पणीः
माननीय #सुप्रीमकोर्ट की 5 जजों की संवैधानिक पीठ जिसकी अध्यक्षता माननीय मुख्य न्यायाधीश कर रहे हैं,

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उसमें #महाराष्ट्र के तत्कालीन राज्यपाल महोदय के निर्णय पर टिप्पणी करते हुये जो कुछ पीठ ने कहा है, वह अत्यधिक शर्मनाक है। शर्मनाक, इसलिये कि जिस व्यक्ति के निर्णय पर यह टिप्पणी हो रही है वह हमारी धरती का बेटा है। आखिर एक उत्तराखंडी का विवेक इतना कैसे गिर गया कि उस पर पीठ के सम्मुख हो रही बहस के दौरान पीठ द्वारा ऐसी गंभीर टिप्पणियां की गई, जिनसे स्पष्ट होता है कि तत्कालीन गवर्नर ने अपने विवेक का पूर्णतः दुरुपयोग किया।

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