Uttrakhand News :उत्तराखंड की संस्कृति को बचाने का काम कर रहे दो युवकों ने दीवार पर चित्र उकेर कर लोक कलाकार प्रह्लाद मेहरा को की श्रद्धांजलि अर्पित
उत्तराखंड की संस्कृति को बचाने का काम कर रहे उत्तरकाशी के दो युवकों ने दीवार पर चित्र उकेर कर लोक कलाकार प्रह्लाद मेहरा को श्रद्धांजलि अर्पित की है। उन्होंने जिला अस्पताल के समाने की दीवार पर हुड़का बजाते हुए प्रह्लाद मेहरा का चित्र उकेरा है।
यह चित्र बागेश्वर आने-जाने वाले लोगों को लोक कलाकार की याद दिलाता रहेगा। युवकों ने कहा कि प्रह्लाद ने कुमाउंनी गीतों को गांव से लेकर विदेश तक पहचान दिलाई है। इस ऋण को कभी नहीं भुलाया जा सकता है।
उत्तराकाशी निवासी मुकुल बड़ौनी और दीपक कुमार बुधवार को बागेश्वर पहुंचे। दोनों युवक जहां उत्तराखंड की संस्कृति को बचाने का काम कर रहे हैं वहीं दोनों ही फाइन आर्ट के भी हुनरमंद हैं। उन्होंने बुधवार को लोक गायक प्रह्लाद सिंह मेहरा को श्रद्धांजलि देते हुए बागेश्वर जिला अस्पताल के सामने दीवार पर उनका चित्र उकेरा है। दोनों युवकों ने कहा कि मेहरा पहाड़ के हर मेले में जाकर अपनी कला का लोहा मनवाते थे। उनके सानिध्य में रहकर कई लोगों ने संगीत के गुर सीखे। पह्लाद के गले में जो मुर्की (शास्त्रीय संगीत में एक छोटा तान या उलटा तान) थी वह उन्हें लोक कलाकार के रूप पहचान दिलाती है। उन्होंने कहा कि आज मेहरा हमारे बीच नहीं है, लेकिन उन्होंने संस्कृति को बचाने के लिए जो भी योगदान दिया उसे हमेशा याद किया जाएगा। उनके निधन से हर कलाकार दुखी है। उनकी भरपाई करना संभव नहीं है। यह लोककला के जगत में अपूरणीय क्षति है.