बढ़ती गर्मी के कारण लमगड़ा, ताकुला में गहराया जल संकट, ग्रामीणों को पानी के लिए घंटों करना पड़ रहा है इंतजार

अल्मोड़ा। गर्मी बढ़ते ही जिले में पेयजल व्यवस्था चरमराने लगी है। जिले के लमगड़ा और ताकुला में 12 से अधिक गांवों में पेयजल संकट गहरा गया है। हालात यह हैं कि नलों में पर्याप्त आपूर्ति न होने से लोगों को पानी के लिए घंटों अपनी बारी का इंतजार करना पड़ रहा है।
भले ही हर घर नल से जल पहुंचाने के दावे हो रहे हैं लेकिन जिले में गर्मी बढ़ते ही यह दावे हवाई साबित हो रहे हैं। लमगड़ा विकासखंड के मुख्य बाजार सहित धात, पौंधार, अनरियाकोट, पलना, छिलखोड़ा, असोटा और ताकुला के डोडियालगांव, सारकोट, भकुना, पाटिया गांव में जल संकट गहरा गया है। जिससे यहां की पांच हजार से अधिक की आबादी परेशान है।
नलों में पर्याप्त पानी नहीं आ रहा है और लोगों को इसके लिए जूझना पड़ रहा है। ग्रामीणों को प्राकृतिक जल स्रोतों की दौड़ लगाकर पेयजल की व्यवस्था करनी पड़ रही है। लमगड़ा के ज्येष्ठ प्रमुख दिवान सिंह बोरा ने बताया कि लंबे समय से लोग पेयजल की किल्लत से जूझ रहे हैं। उनकी परेशानी दूर करने के प्रयास नहीं हो रहे हैं।
लमगड़ा के लोगों को पंपिंग योजना का इंतजार
करीब एक वर्ष पूर्व लमगड़ा की बढ़ी आबादी की प्यास बुझाने के लिए कपकोट पंपिंग योजना का निर्माण शुरू किया गया था। लंबा समय बीतने के बाद भी यह योजना धरातल पर नहीं उतर सकी है। ऐसे में इस गर्मी में भी क्षेत्र के लोगों को पर्याप्त पानी के लिए जूझना पड़ सकता है।
टैंकरों से शुरू नहीं हुई आपूर्ति
बीते वर्ष तक गर्मियों में पेयजल किल्लत को देखते हुए जल संस्थान टैंकरों से लोगों को पेयजल उपलब्ध कराता था। लेकिन इस वर्ष अब तक जिले में यह व्यवस्था शुरू नहीं हो सकी है। ऐसे में प्रभावित क्षेत्रों के लोगों की दिक्कत बढ़ गई है और वे राहत का इंतजार कर रहे हैं।
ईई, जल संस्थान एके सोनी ने कहा लमगड़ा के लोगों की परेशानी को देखते हुए कपकोट पंपिंग योजना का निर्माण किया जा रहा है। इसका कार्य अंतिम चरण में है। जिन हिस्सों में पेयजल की दिक्कत हो रही है वहां टैंकरों से पानी की आपूर्ति की जाएगी।