भारत सरकार ने 10 यूट्यूब चैनल्स के 45 देश विरोधी वीडियो किए बैन देखिये नाम
भारत सरकार ने 10 यूट्यूब चैनल्स के 45 देश विरोधी वीडियो बैन किए हैं। इस संबंध में सूचना एवं प्रसारण ने 23 सितंबर को आदेश जारी किया था।
बता दें, इससे पहले भारत सरकार ने गत 18 अगस्त 2022 को भी भारत विरोधी प्रोपगेंडा चलाने वाले यूट्यूब चैनल्स पर बड़ी कार्रवाई की थी। इस कार्रवाई में सरकार द्वारा कुल 8 चैनलों को बैन किया गया था। जिन यूट्यूब चैनलों को बैन किया गया था उनके नाम- लोकतंत्र टीवी, यू एंड वी टीवी, एएम रजवी, गौरवशाली पवन मिथिलांचल, SeeTop5TH, सरकारी अपडेट, सब कुछ देखो। इसके अलावा ‘न्यूज़ की दुनिया’ नामक पाकिस्तानी यूट्यूब चैनल को भी बैन किया गया था।
केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार (Narendra Modi Government) आईटी नियमों नियमों के अंतर्गत काफी सख्त नजर आ रही है।
सरकार समय-समय पर सोशल साइट्स पर चल रही देश विरोधी गतिविधियों के खिलाफ कार्रवाई करती रहती है। इसी सिलसिले में केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने यूट्यूब को 10 यूट्यूब चैनल्स के 45 वीडियोज को बैन (YouTube Channels Ban) करने का आदेश दिया है। सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने यह कार्रवाई खुफिया एजेंसियों के इनपुट के आधार पर की है।
मंत्रालय ने जिन वीडियोज को बैन किया है, उन्हें 1 करोड़ 30 लाख से अधिक बार देखा जा चुका था। इन वीडियोज में फेक कंटेंट के माध्यम से भारतीय सेना, राष्ट्रीय सुरक्षा तंत्र व कश्मीर के खिलाफ दुष्प्रचार किया जा रहा था। यही नहीं, इनमें भारत के नक्शे को भी गलत तरीके से दिखाया जा रहा था।
इन वीडियोज को बैन करने के संबंध में सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय द्वारा जारी विज्ञप्ति में कहा गया है, “खुफिया एजेंसियों के इनपुट के आधार पर, सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने यूट्यूब (Youtube) को 10 यूट्यूब चैनलों से 45 वीडियो को बैन करने का निर्देश दिया है। वीडियो को बैन करने के आदेश 23 सितंबर, 2022 को सूचना प्रौद्योगिकी नियम 2021 के तहत जारी किए गए थे। बैन किए गए वीडियो को 1 करोड़ 30 लाख से अधिक बार देखा जा चुका है।”
इस विज्ञप्ति में आगे कहा गया है इन यूट्यूब चैनल्स में धार्मिक समुदायों के बीच नफरत फैलाने के इरादे से फैलाई गई फर्जी खबरें और मॉर्फ्ड वीडियो शामिल थे। यही नहीं, वीडियो में झूठे दावे जैसे कि सरकार ने कुछ समुदायों के धार्मिक अधिकारों को छीन लिया है, धार्मिक समुदायों के खिलाफ हिंसक धमकियाँ, भारत में गृह युद्ध की घोषणा जैसी फेक खबरें थीं। इन वीडियो से देश में सांप्रदायिक वैमनस्य और सार्वजनिक अव्यवस्था हो सकती थी, इसलिए इन्हें बैन किया गया है।
मंत्रालय ने यह भी कहा है कि बैन किए गए वीडियोज द्वारा अग्निपथ योजना, भारतीय सशस्त्र बलों, भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा तंत्र, कश्मीर इत्यादि से संबंधित मुद्दों पर दुष्प्रचार फैलाया जा रहा था। साथ ही कुछ वीडियो में जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के कुछ हिस्सों को भारतीय सीमा से बाहर गलत तरीके से दिखाया गया है। इस तरह के वीडियो/कंटेट भारत की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता के लिए हानिकारक हैं।